बुलंद आवाज़ न्यूज
गौचर/ चमोली
नगरपालिका क्षेत्र गौचर व उनके नजदीकी 7 गांवों की अधिष्ठात्री देवी मां कालिंका परंपरानुसार भ्राद मास के दौरान अष्टमी को अपने भाई रावल देवता के साथ अपने ससुराल भट्टनगर स्थित मंदिर से मायके मंदिर मांडा मंडप पनाई सेरा मंदिर में आगमन होता आया है। इस बार देवी मां का 19 सितंबर को अपने भाई रावल देवता के साथ ससुराल से मायके में आगमन होगा। जिसके लिये मंदिर समिति द्वारा मंदिर की साज सज्जा व सौंदर्यीकरण के कार्य को अंतिम रूप दिया जा रहा है।
मां के धार्मिक अनुष्ठान को लेकर मायके पक्ष के सात गांवों – पनाई, शैल बसन्तपुर, रावल नगर, बंदरखंड, धारी नगर (तलधारी), गौचर के लोगों में देवी मां कालिंका के प्रति बड़ी श्रद्धा का भाव बना रहता है। मंदिर समिति के अध्यक्ष उमराव सिंह नेगी के अनुसार 19 सितंबर को रावलनगर गांव क्षेत्र के इष्ट देव भूमियाल रावल देवता के साथ देवी कालिंका विधि-विधान व उत्सव यात्रा के साथ अपने मायका मंदिर मांडा मंडप पनाई सेरा में विराजमान होगी। तीन दिवसीय धार्मिक अनुष्ठान, देवी पाठ और पूजा अर्चना के साथ 22 सितंबर को अपने ससुराल विदा हो जायेगी। इस दौरान सालभर से अपनी लाडली देवी मां के दर्शन को लेकर सभी भक्तों में भारी उत्साह बना रहता है।
अध्यक्ष उमराव सिंह नेगी, जयपाल बिष्ट, चन्द्र सिंह चौहान, बलवंत सिंह नेगी, महेंद्र बिष्ट, पालिका सभासद देवेंद्र नेगी, मुकेश नेगी, राकेश लिंगवाल, हरीश नेगी, आलोक नेगी, महावीर नेगी, जगदीश कनवासी, भीम सिंह गुसाईं, देवेन्द्र नेगी, सुरेन्द्र नेगी, गिरीश जोशी, अनुसुइया जोशी, बंशीधर शैली आशीष शैली नागेन्द्र प्रसाद आदि देवी मां के धार्मिक अनुष्ठान मेले के सफल आयोजन को लेकर जुटे हुये है ।
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